हरि खेल रहे हैं होली,
देबा तेरे द्वारे में।
टेसू के रंग में रंगे कपोल हैं,
चार दिशा दिशा फाग के बोल हैं,
उड़त अबीर गुलाल,
देबा तेरे द्वारे में।
हरि खेल ...
हाथ लिए कंचन पिचकारी,
गावत खेलत सब नर नारी,
भीग रहे होल्यार,
देबा तेरे द्वारे में।
हरि खेल ...
भाग कि मार पड़ी उसके सर,
कौन अभाग है शिव शिव हर हर,
कैसा है लाचार,
देबा तेरे द्वारे में।
हरि खेल ...
गिरिका भी खेलें बची का भी खेलें,
बचुली सरुली और परुली भी खेलें,
कौन करे इंकार,
देबा तेरे द्वारे में।
हरि खेल रहे हैं होली,
देबा तेरे द्वारे में ।
देबा तेरे द्वारे में।
टेसू के रंग में रंगे कपोल हैं,
चार दिशा दिशा फाग के बोल हैं,
उड़त अबीर गुलाल,
देबा तेरे द्वारे में।
हरि खेल ...
हाथ लिए कंचन पिचकारी,
गावत खेलत सब नर नारी,
भीग रहे होल्यार,
देबा तेरे द्वारे में।
हरि खेल ...
भाग कि मार पड़ी उसके सर,
कौन अभाग है शिव शिव हर हर,
कैसा है लाचार,
देबा तेरे द्वारे में।
हरि खेल ...
गिरिका भी खेलें बची का भी खेलें,
बचुली सरुली और परुली भी खेलें,
कौन करे इंकार,
देबा तेरे द्वारे में।
हरि खेल रहे हैं होली,
देबा तेरे द्वारे में ।
हरि खेलें रंगो की होली...वाह...
ReplyDeleteहाथ लिए कंचन पिचकारी,
ReplyDeleteगावत खेलत सब नर नारी,...........
वाह! चतुर्दिक फागुनी रंग बिखेरती पोस्ट (रचना )
स: परिवार होलिकी हार्दिक शुभकामनाएं........
वाह! बहुत ही शानदार होली है.
ReplyDeleteहोली की बहुत बहुत हार्दिक शुभकामनाएँ.
हाथ लिए कंचन पिचकारी,
ReplyDeleteगावत खेलत सब नर नारी,
होली की अग्रिम शुभकामनाएं
बहुत सुन्दर! शुभकामनाएं!
ReplyDeleteहरि खेल रहे हैं होली,
ReplyDeleteदेबा तेरे द्वारे में।
वाह , आपका होली रंगों से भरा हो
वाह!!!!!बहुत बढ़िया होली भाव की अभिव्यक्ति,बेहतरीन रचना,...
ReplyDeleteहोली की बहुत२ बधाई,....शुभकामनाए
ये होली तो शहरों से गायब हो गई है
ReplyDeleteकविता में से निकल कर होली के रंग भगवान करे शहरों में दुबारा आ जाए
श्याम रंग में डूबी मोहक प्रस्तुति. होली की हार्दिक शुभकामनायें .
ReplyDelete.
क्या सिलेंडर भी एक्सपायर होते है ?
होली पर इस भावपूर्ण व अर्थपूर्ण प्रस्तुति के लिए बहुत बहुत आभार !
ReplyDeleteकभी नजरें हमारी ओर भी इनायत कीजिये भाई.
होली की अनेकानेक शुभकामनाएं.
सुंदर कविता... होली की शुभकामनायें
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♥ होली ऐसी खेलिए, प्रेम पाए विस्तार ! ♥
♥ मरुथल मन में बह उठे… मृदु शीतल जल-धार !! ♥
आपको सपरिवार
होली की हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं !
- राजेन्द्र स्वर्णकार
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सुंदर रचना. होली की हार्दिक शुभकामनाएँ.
ReplyDeleteहोली मुबारक .फाग मुबारक .
ReplyDeletebhaav poorn होली geet .
बहुत ही शानदार होली ! बधाई!
ReplyDeleteहोली मुबारक !
होली का यह भी एक रूप है।
ReplyDeleteशुभकामनाएं .. हैप्पी होली!
बहुत खूब..............
ReplyDeleteहोली मुबारक......
होली की बहुत बहुत रंगों भरी शुभकामनाएं ..
ReplyDeleteहरि खेल रहे हैं होली,
ReplyDeleteदेबा तेरे द्वारे में।..
रंगोत्सव की शुभकामनायें स्वीकार करें !
हैप्पी होली, स र र र र र र र र र र र र र र र
ReplyDeleteहोली हे
विश्व महिला दिवस और होली कि हार्दिक शुभकामनाएं
देबा तेरे द्वारे में।
ReplyDeleteयह भक्ति भरा रंग समर्पण!!
रंगोत्सव और उत्साह चार्ज के पर्व पर ढ़ेरों शुभकामनायें
कौन करे इंकार,
ReplyDeleteदेबा तेरे द्वारे में।
हरि खेल रहे हैं होली,
देबा तेरे द्वारे में । holi parv ki tarah sundar rachna ,is parv ki dhero badhai
बहुत सुंदर। लोकभाव में रचे इस फागुनी गीत के लिए बधाई।
ReplyDeleteपिछले कुछ दिनों से अधिक व्यस्त रहा इसलिए आपके ब्लॉग पर आने में देरी के लिए क्षमा चाहता हूँ...
ReplyDeleteइस रचना के लिए बधाई स्वीकारें.
नीरज